उन्होंने सबसे पहले दूबेछपरा में गंगा नदी के जलस्तर को देखा। जहां बाढ़ और कटान से जुड़ी सभी जानकारी ली। इंजीनियरों से कहा कि पानी के बढ़ाव को देखते हुए पूरी तैयारी रखें। आसपास के बाढ़ से प्रभावित गांवों की सूची तैयार कर तत्काल उपलब्ध कराने के निर्देश दिया। बाढ़ खंड के अधिकारी सीडीओ, अपर जिलाधिकारी, सीएमओ आदि से भी समन्वय बनाये रखें और हर सूचना से अवगत कराते रहने के निर्देश दिए। यह भी कहा कि बाढ़ प्रभावित गांवों में वितरण की जाने वाली राशन सामग्री, नाव की व्यवस्था, मिट्टी तेल, त्रिपाल एवं औषधि सहित अन्य व्यवस्था पहले से कर ली जाये। आवश्यकतानुसार गांवों में राहत सामग्री ज्यादा से ज्यादा उपलब्धता सुनिश्चित कर लिया जाय। वितरण में किसी प्रकार की शिकायत नहीं मिलनी चाहिए।जिलाधिकारी ने प्रशासनिक अधिकारियों को अपने अधीनस्थों के माध्यम से यह सुनिश्चित कराने का निर्देश दिया कि बाढ़ प्रभावित गांवों में भी जलस्तर की सूचना हमेशा देते रहें। प्रत्येक गांवों में रात्रि में पुलिस फोर्स का भ्रमण भीज्ञरहना चाहिए। तहसीलदार बैरिया को निर्देश दिए कि बाढ़ से प्रभावित गांवों में कानूनगो और लेखपालों के माध्यम से पहले से सर्वे करा लें। निरीक्षण के दौरान अपर जिलाधिकारी रामआसरे, एसडीएम अभय सिंह, तहसीलदार शिवसागर दूबे, डीएसओ कृष्ण गोपाल पाण्डेय और बाढ़ खण्ड अधिकारी मौजूद थे।
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